पुष्करणी
यह पुस्तक आधुनिक हिंदी के प्रमुख कवियों की प्रतिनिधि कविताओं का संचयन है जिसका संकलन लब्धप्रतिष्ठित कवि अज्ञेय ने किया है। आम तौर पर इस तरह के संकलन स्कूलकॉलेज के पाठ्यक्रम को ध्यान में रखकर तैयार किए जाते हैं। जिनसे आम पाठक जुड़ नहीं पाता है। ऐसे संकलन किसी भी कवि की विशिष्टताओं को सही तरह से सामने नहीं ला पाते हैं। अज्ञेय को भी ऐसे ग्रंथ की कमी खटक रही थी और उन्होंने यह चुनौती स्वीकार की जिसका परिणाम ‘पुष्करिणी’ जैसे सुरुचिपूर्ण संकलन के रूप में सामने आया। इस संकलन में आधुनिक हिंदी कविता के आठ सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण कवियों को लिया गया है जिस पर सहज ही सर्वसम्मति बन सकती है। ये कवि हैं-मैथिलीशरण गुप्त, माखनलाल चतुर्वेदी, सियारामशरण गुप्त, ‘दिनकर’, प्रसाद, निराला, सुमित्रानंदन पंत और महादेवी वर्मा। इन सभी कवियों की यथेष्ट कविताएँ शामिल की गई हैं जिनसे इनके पूरे मिज़ाज का पता पाठकों को चल जाता है। इस संकलन की उपयोगिता आम पाठकों के साथ-साथ साहित्य के विद्यार्थियों के लिए भी स्वयंसिद्ध है।
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